वास्तव में यह चौंकाने वाली किंतु सच्ची बात है कि कई बार क्षमा करना और देना साथ साथ होता है। जैसे हम इस सन्दर्भ में देखते हैं और यह भी कि जो लोग कम देते हैं वे कम ही क्षमा कर पाते हैं। हमारा परमेश्वर बहुतायत से क्षमा करता है और बहुतायत से देता है।
परमेश्वर हर्ष से देने वाले से प्रेम करता है। परमेश्वर हर्ष से क्षमा करने वाले से भी प्रेम करता है।
दिया करो तो तुम्हें भी दिया जाएगा चाहे आप जो कुछ भी दे देना बोने के समान है। "मनुष्य जो कुछ बोता है वहीं काटेगा" (गला. 6:7) यदि आप दूसरों को परेशान करेंगे तो आपको बदले में वही मिलेगा। हर एक व्यक्ति जितना बोता है उससे अधिक ही काटता है। उसी प्रकार जो आप दूसरों को देते हैं, उससे आप वापस पा लेंगे। बढ़ा हुआ नाप में पूरा नाप दबा दबा कर और हिला हिला कर और उभरता हुआ। आप दूसरों को दया देते होंगे, वैर देते होंगे, प्रेम या क्षमा जो भी आप देते हों। आप उसे पा लेंगे। वह भी दबा दबा कर, हिला हिलाकर और उभरता हुआ।